Apple के लिए खतरे की घंटी!, iPhone की छुट्टी! Huawei बना नंबर-1 स्मार्टफोन ब्रांड… जानिए पूरी डिटेल

Huawei ने एक बार फिर से चीनी स्मार्टफोन बाजार में धाक जमा ली है। अमेरिका के प्रतिबंधों के बावजूद, कंपनी ने अपने ऑपरेटिंग सिस्टम HarmonyOS को इस हद तक विकसित कर लिया कि अब यह iOS को भी पीछे छोड़ चुका है। Huawei अब चीन में न केवल सबसे अधिक बिकने वाला स्मार्टफोन ब्रांड बन गया है, बल्कि उसका सॉफ्टवेयर भी iOS से आगे निकल गया है। आइए, जानते हैं कि Huawei की इस सफलता के पीछे की वजहें क्या हैं और इसका वैश्विक बाजार पर क्या प्रभाव पड़ सकता है।

Huawei ने कैसे बदली बाज़ी?

Huawei कभी दुनिया के सबसे बड़े स्मार्टफोन ब्रांड्स में से एक था। लेकिन अमेरिका ने 2019 में इस पर प्रतिबंध लगाते हुए गूगल सर्विसेज और अन्य अमेरिकी टेक्नोलॉजी तक इसकी पहुंच रोक दी। इससे Huawei के स्मार्टफोन बिजनेस को जबरदस्त झटका लगा। लेकिन Huawei ने हार नहीं मानी और अपने ऑपरेटिंग सिस्टम HarmonyOS को विकसित करने में लग गई।

अब, Counterpoint Research की एक नई रिपोर्ट के मुताबिक, Huawei का HarmonyOS चीनी बाजार में iOS से आगे निकल गया है। यह बड़ी उपलब्धि इस बात को दर्शाती है कि Huawei ने अपने घरेलू बाजार में दोबारा मजबूती से कदम जमा लिए हैं।

HarmonyOS ने iOS को कैसे पछाड़ा?

Counterpoint Research के अनुसार, साल 2024 की चौथी तिमाही में HarmonyOS ने चीन के मेनलैंड में iOS को पीछे छोड़ दिया। ताजा आंकड़ों के मुताबिक:

  • HarmonyOS की बाजार हिस्सेदारी: 19%
  • iOS की बाजार हिस्सेदारी: 17%
  • Android की बाजार हिस्सेदारी: 64%

HarmonyOS ने पूरे साल (2024) iOS से बेहतर प्रदर्शन किया है। यह दर्शाता है कि चीनी उपभोक्ताओं में इसका क्रेज तेजी से बढ़ रहा है।

Huawei की बिक्री में ज़बरदस्त उछाल

Counterpoint की रिपोर्ट के मुताबिक, Huawei साल 2024 की चौथी तिमाही में चीन का नंबर-1 स्मार्टफोन ब्रांड बन गया है।

  • Huawei का मार्केट शेयर: 18.1%
  • ईयर-ऑन-ईयर ग्रोथ: 15.5%

Huawei के इस उछाल में मुख्य रूप से Nova 13 और Mate 70 सीरीज़ के स्मार्टफोन्स का बड़ा योगदान रहा है। ये दोनों सीरीज़ प्रीमियम फीचर्स और दमदार परफॉर्मेंस के लिए जानी जाती हैं।

चीनी सरकार का सपोर्ट बना बड़ी ताकत

Huawei की इस सफलता के पीछे सिर्फ टेक्नोलॉजी नहीं, बल्कि चीनी सरकार का भी बड़ा हाथ है। चीनी सरकार ने लोकल टेक्नोलॉजी कंपनियों को बढ़ावा देने के लिए कई तरह की सब्सिडी दी है।

  • 6000 युआन से अधिक कीमत वाले स्मार्टफोन्स पर 500 युआन की सब्सिडी
  • सरकारी और कॉर्पोरेट सेक्टर में Huawei डिवाइसेज़ को प्राथमिकता
  • HarmonyOS को सरकारी संस्थानों में अनिवार्य रूप से अपनाने की योजना

इस सरकारी समर्थन के चलते Huawei को अपने स्मार्टफोन्स और HarmonyOS को तेजी से अपनाने में मदद मिली।

HarmonyOS का भविष्य और संभावनाएं

HarmonyOS अब केवल एक स्मार्टफोन ऑपरेटिंग सिस्टम नहीं है, बल्कि यह एक पूरी टेक्नोलॉजी इकोसिस्टम का हिस्सा बन चुका है। Huawei अब इसे स्मार्टवॉच, टैबलेट, लैपटॉप और अन्य IoT डिवाइसेज़ में भी इस्तेमाल कर रहा है।

इसके अलावा, Huawei जल्द ही HarmonyOS NEXT का स्थिर वर्जन लॉन्च करने वाला है। 20 मार्च को होने वाले इवेंट में इस नए OS की घोषणा की जाएगी, जिससे Huawei को और भी मजबूती मिलने की उम्मीद है।

Huawei vs Apple: कौन होगा आगे?

Huawei के तगड़े कमबैक ने Apple के लिए चुनौती खड़ी कर दी है। Apple को अब चीन में मुकाबला करना कठिन हो सकता है, क्योंकि:

  1. Huawei के स्मार्टफोन्स अधिक किफायती हैं
  2. HarmonyOS अब चीनी यूज़र्स की पसंद बन चुका है
  3. चीनी सरकार Huawei को प्राथमिकता दे रही है
  4. Apple का मार्केट शेयर घट रहा है

अगर यही ट्रेंड जारी रहा, तो आने वाले वर्षों में Huawei न केवल चीन बल्कि अन्य वैश्विक बाजारों में भी Apple और Samsung को कड़ी टक्कर दे सकता है।

निष्कर्ष :

Huawei ने अमेरिका के बैन के बावजूद, न केवल अपने स्मार्टफोन बिजनेस को बचाया, बल्कि इसे और भी ऊंचाइयों तक पहुंचा दिया है। HarmonyOS अब चीन में iOS से आगे निकल चुका है और Huawei स्मार्टफोन बिक्री में भी टॉप पोजिशन पर पहुंच गया है।

इसका मतलब है कि Huawei अब वैश्विक स्तर पर एक बार फिर अपनी खोई हुई जगह पाने की तैयारी में है। अगर कंपनी अपनी मौजूदा रणनीति पर कायम रहती है, तो आने वाले वर्षों में Huawei एक बार फिर स्मार्टफोन इंडस्ट्री में सबसे बड़ा नाम बन सकता है।